प्रदेश को इलेक्ट्रिक वाहनों के निर्माण का वैश्विक केन्द्र बनाने पर विचार कर रही हिमाचल सरकार

उद्योग, परिवहन, श्रम एवं रोजगार मंत्री बिक्रम सिंह ने बेंगलुरू में हुई केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय द्वारा आयोजित विकास मन्थन कार्यक्रम के दूसरे दिन विशेष काउंसिल की बैठक में हिस्सा लिया। इस बैठक की अध्यक्षता केन्द्रीय सड़क, परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने की।

परिवहन मंत्री ने इस अवसर पर केन्द्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री से इलेक्ट्रिक वाहन निर्माता कंपनियों को सभी इलेक्ट्रिक वाहनों को चार्ज करने के लिए एक ही प्रकार की चार्जिंग प्रणाली विकसित करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार इलेक्ट्रिक वाहनों को अपनाने के लिए शिमला, बद्दी, मण्डी और धर्मशाला को आदर्श शहर घोषित करने की दिशा में कार्य करेगी। सरकार द्वारा वाहनों में वाहन ट्रैकिंग सिस्टम लगाने के लिए युद्धस्तर पर कार्य किया जा रहा है।

उन्होंने कहा कि हिमाचल पथ परिवहन निगम द्वारा 100 से अधिक इलेक्ट्रिक चालित बसें चलाई जा रही हैं और भविष्य में इनकी संख्या और अधिक बढ़ाने की योजना है। परिवहन मंत्री ने कहा कि प्रदेश में बैटरी चालित वाहनों को अपनाने में तेज़ी लाने के लिए दक्षता से प्रयास किए जा रहे हैं। प्रदेश सरकार हिमाचल को इलेक्ट्रिक गतिशीलता, विकास और इलेक्ट्रिक वाहनों के निर्माण का एक वैश्विक केन्द्र बनाने पर विचार कर रही है।

बिक्रम सिंह ने कहा कि राज्य सरकार द्वारा प्रदेश में कनेक्टिविटी को बढ़ावा देने के लिए विशेष प्रयास किए जा रहे हैं। सरकार द्वारा पर्यावरण के अनुकूल प्रदूषण मुक्त इलेक्ट्रिक संचालित और लागत प्रभावी अभिनव वैकल्पिक परिवहन व्यवस्था के लिए नवोन्मेष प्रयास किए जा रहे हैं।

परिवहन मंत्री ने कहा कि राज्य सरकार ने रोप-वे के विकास के लिए 26 अप्रैल, 2022 को भारत सरकार के साथ समझौता ज्ञापन हस्ताक्षर किए हैं और पर्वतमाला योजना के तहत 60.6 किलोमीटर के लिए 2964 करोड़ रुपये लागत की 7 रोप-वे परियोजनाएं विकसित करने के लिए भारत सरकार के समक्ष प्रस्तुत की हैं।

उन्होंने केन्द्र सरकार से इन योजनाओं को शीघ्र शुरू करने के लिए वित्तीय सहायता प्रदान करने का आग्रह किया। उन्होंने शिमला रोप-वे परियोजना को सैद्धान्तिक मंजूरी प्रदान करने के लिए केन्द्र सरकार का आभार व्यक्त किया।

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