मार्च में ही चल सकती है मई-जून वाली लू, अलर्ट जारी

हिमाचल प्रदेश में गर्मी ने मार्च महीने में ही रिकार्ड तोडऩे शुरू कर दिए है। अब मई और जून महीने में चलने वाली लू भी मार्च महीने में चल सकती हैं। इसको लेकर मौसम विभाग ने अलर्ट जारी कर दिया है। मौसम विभाग ने 28 और 29 मार्च को प्रदेश के मैदानी इलाकों में गर्म हवाएं चलने की चेतावनी जारी की है। इनमें मौसम विज्ञान केंद्र शिमला ने ऊना, बिलासपुर, हमीरपुर, कांगड़ा, शिमला, सोलन, सिरमौर, मंडी, कुल्लू और चंबा जिला के कई क्षेत्रों में गर्म हवाएं चलने का येलो अलर्ट जारी किया है। तीस मार्च तक पूरे प्रदेश में मौसम साफ रहने का पूर्वानुमान है। धूप खिलने से पारा और अधिक चढऩे की संभावना है।
रविवार को प्रदेशभर में मौसम साफ रहा। राजधानी शिमला सहित प्रदेश के सभी जिलों में दिनभर धूप खिली रही। निचले क्षेत्रों में गर्मी के प्रकोप से लोगों को दो चार होना पड़ा है। वहीं पहाड़ी इलाकों में धूप के साथ ठंडी हवाएं चलने से गर्मी से लोगों को राहत मिली। वहीं प्रदेश के तापमान में फिर से इजाफा होने लगा है। रविवार को प्रदेश के अधिकतम तापमान में एक डिग्री का उछाल देखा गया है।

सबसे अधिक तापमान ऊना जिला में दर्ज किया गया है। यहां का अधिकम तापमान 35.5 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया है। ऊना के बाद बिलासपुर और हमीरपुर में भी गर्मी का प्रकोप सर चढ़कर बोल रहा है। बिलासपुर में अधिकतम तापमान 34 डिग्री, हमीरपुर जिला में 33.2 डिग्री, कांगड़ा जिला में 32.5, चंबा में 31.3, धर्मशाला में 31.1 डिग्री, भुंतर में 31.3, सुंदरनगर में 33.5, सोलन में 31.4 डिग्री, कल्पा में 23, शिमला में 23.8, केलंग में 14.7, डलहौजी में 21.9 डिग्री और नाहन में 31.7 डिग्री अधिकतम तापमान दर्ज किया गया है।


वहीं न्यूनतम तापमान राजधानी शिमला में 13.6, सुंदरनगर में 10, भुंतर में 8.1, कल्पा में 5.8 डिग्री, धर्मशाला में 22.4, ऊना में 14.0, नाहन में 18.7, केलंग में 0.1, पालमपुर में 13.5, सोलन में 11.4 डिग्री, मनाली में 6.6, कांगड़ा में 13.8, मंडी में 11.6, बिलासपुर में 14, हमीरपुर में 11.5, चंबा 10.7, डलहौजी में 13.7, कुफरी में 11.1, जुब्बड़हट्टी में 16.5 और पोंटा साहिब में 12.5 डिग्री न्यूनतम तापमान दर्ज किया गया है।

हिमाचल प्रदेश में अप्रैल तक मौसम साफ रहेगा। इस दौरान प्रदेश में बारिश की कोई संभावना नहीं है। ऐसे में आने वाले दिनों में गर्मी में इजाफा होने की पूरी संभावनाएं है। गर्मी बढऩे से लोगों को परेशानियों का सामना करना पड़ सकता है। वहीं मार्च माह में ही भारी गर्मी के कारण प्राकृतिक जल स्त्रोतों में पानी का स्तर कम होने लगा है। इसके कारण जहां किसानों व बागवानों को सिंचाई के लिए पानी की कमी हो रही हैं, तो वहीं पर कुछ स्थानों में पीने के पानी की किल्लत भी शुरू होने लगी है।

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